मु #य संर(क *ी के. नािन 0साद 0ाचाय3एवंमु #य संर(क Chief Patron Shri. K Nani Prasad Principal संर(क *ीमती . शेषा राव उप 0ाचाया3 , संर(क Patron Smt. Shesha Prasad Vice Principal काय3कारी संपादक • *ी . उमेश दोशी (<नातको=र िहंदी िश(क ) • *ीमती आ@ा (<नाताको=र अंBेजी िशि(का) • एन नागेEर राव (मु #य अFयापक) • *ीमती किवता कुGी (<नातक अंBेजी िशि(का) • *ी िनलेश अशोक जाधव (<नातक अंBेजी िश(क) • सु.*ी. ऋचा वमा3 (<नातक अंBेजी िशि(का) • सु.*ी . बिबता यादव (<नातक िहंदी िशि(का) • *ीमती सु जाता आर . (सं<कृत <नातक-अनु बंध िशि(का ) Executive Editors • Mr. Umesh Doshi (PGT Hindi) • Mrs. Ardra KV. • (PGT English) • N Nageswara Rao (HM) • Mrs. Kavitha Kutty (TGT English) • Mr. Nilesh Jadhav (TGT English) • Ms. Richa Verma (TGT English) • Ms. Babita Yadav (TGT Hindi) • Mrs. Sujatha R (TGT Sanskrit-Contractual) मु ख पNृ सOजा *ी क. नरेP@नाथ <नातक कला िश(क Cover Design Mr. K. Narendranath (TGT Art Education) छाS संपादक मंडल • िहमानी - XII अ • किशश इमाम - XII ब • ज़िरश इमाम - XII ब • नमन बंसल - IX अ • सयूाYश - IX अ Student Editors • Hemani - XIIA • Kashish Imam - XIIB • Zarish Imam - XIIB • Naman Bansal - IXA • Suryansh - IXA Editorial Board
Principal’s Message Writing is the painting of the voice. It has been my experience of finding words as effective medium for painting as colours are and just as beautiful. Contrary to what people believe, written form in any language is just as universal and beautiful as a scenic painting and starting early grooms the artist in young minds and hearts. This e magazine is that channel of creativity that carries the voices of the young writers of Kendriya Vidyalaya AFS Hakimpet and fountain the flow into breathtaking works of art. The world of Art waiting at the end of the road beckons all the budding artists with an indulgent mind and generous heart. I hope we can find it within us to be myopic to the faults and focus on the freshness of the written pieces. Enjoy your journey through the garden of creativity that has the brilliance of the sun on the early morning dew and the fertility of mother earth. Good Luck and Happy Reading! K. N. Prasad Principal
From the Editor’s Desk Children are the future pillars of a nation. An overall development of today’s child reflects the prosperity and growth of tomorrow’s nation. Education is a catalyst in the long run of a nation to achieve its goal. Education not only focuses on the academic qualities of a child but also emphasizes an overall development of children to be a good citizen. A school fosters all these values. Through this magazine we are honoured to share the illuminating chronicles of our school that helped to shape the body and mind of children to be a good human being in the enigmatic world. It captures the activities and events that stimulated the insight of children and reflects the creativity and enthusiasm through their articles. It is a place to express themselves and to showcase their talents. Each page has its own story to tell. It offers a space for the creativity of teachers too. Our magazine is the reflection of the glorious journey of the academic year 2023-2024. The editorial board extends its gratitude to our respected Principal for his immense support and guidance and to the team of teachers and students to make this magazine possible. We extend our appreciation to alumna, Ms K. Bavishya for her valuable time and effort. Here we happily release our magazine… Mrs. Ardra.K.V (PGT English)
Republic Day
All Faith Prayer Yoga Day
Hindi Pakhwada Swachhata Pakhwada
Annual Day
Pariksha Pe Charcha
!"#$% &'()* “िहंदी जोड़न े वाली भाषा ह ै ना िक तोड़न े वाली!” िहंदी हमारा अिभमान है!
िव]ालय की पिSका छप रही ह,ै िमला म ु झेयह समाचार । सोचा मbभी िलख डालं, ू आिट3कल दो- चार । किवता िलखं ू या कहानी िलखं ू या िफर कोई लेख । इसी सोच मfबठैी मb िसर तिकए पर टेक । पछ ू ा भयैा िवषय बताओ या कोई 0संग । िजसेपढ़ेमजेसेसब, होना कोई अित तंग । इPहj िवचारk मfखोकर, जब िदमाग होनेलगा खाली । तब ट ू टे-फ ू टेशlदk मf, यह किवता िलख डाली । ~ऋचा सातवj (अ) िव]ालय की पिSका म े रा mयारा िव]ालय िकतना स ुंदर मेरा िव]ालय, इसमfरंग िबरंगी फ ू ल । फ ू ल स ु हानेसबको भाते, उPहfदेखकर सब ललचाते। टीचर हमको पाठ पढ़ती, नई-नई बातfिसखलाती । फ ू लk सेिगनती करवाती, टॉफी देकर हमfिसखाती । ~क ृ ितक सातवj (अ)
म े रा गांव बड़ा भोला, बड़ा सादा, बड़ा सoचा ह, ै त े र े शहर स े तो म े रा गांव अoछा ह ै। वहांम b म े र ेिपता क े नाम स े जानी जाती हूं, और यहांमकान नंबर स े पहचानी जाती हूं । वहांफट े कपड़k स े भी तन को ढका जाता ह, ै यहांख ु ल े बदन म f टट ै ू छपा जाता ह ै। यहांकोठी ह, ै बंगल े ह, ैऔर कार ह, ै वहां पिरवार ह, ैऔर सं<कार ह ै। यहां िचखk की आवाज दीवार स े टकराती ह, ै वहांद ू सरk की िससिकयांभी स ु न ली जाती ह ै। यहांशोर शराब े म f कहj खो जाती हूं, वहां ट ू टी खिटया पर भी आराम स े सो जाती हूं । मत समझो कम हम fकी हम गांव स े आए ह, b त े र े शहर क े बाजार म े र े गांव न ेहj सजाएँह ै। वहां इOजत म f सर सरज ू की तरह ढलत े ह, b चल आज हम म े र े इस गांव म f चलत े ह। b ~ऋचा सातवj (अ)
tuाचार महंगाई और बेरोजगारी से, देश हमारा हुआ लाचार । कोई न पाया इससेपार, भारत मfफैला tuाचार । नजरk मfइनकेखज़ाना था, च ु नाव लड़केभाwय आजमाना था । जीतेच ु नाव और बन गए नेता, अब भी ना इनका ग ु जारा होता । िकए घोटालेअरबk कमाए, जनता केद ु ख इPहfनजर ना आए । (ेS मfअपनेिकतना खच3िकया, कागजk नेझेला इसका भार । कोई ना पाया इससेपार, भारत मfफैला tuाचार । घोटालेमfकमी नहj ह,ैनजरk मfइनकी यही सही है। जमीन को भी नहj छोड़ा ह,ैिनब3लk की गद3न को मरोड़ा है। अपंगk को और अपंग बनाया, उनकेजीवन को जंग बनाया। स=ा हाथ मfआतेही यह बन जातेहbसर मायेदार । कोई ना पाया इससेपार ,भारत मfफैला tuाचार । घोटालेमfआया खेल, अपराधी को नहj होती हैजेल । मंिSयk नेऐसेकाम िकये, आदश3सेबनेघर अपनेनाम िकये। जब नहj भरा इनका झोला, तब नजर आया इनको कोयला। घोटालेना zकते अब तो, बस बदल रहेउनके0कार । कोई ना पाया इससेपार ,भारत मfफैला tuाचार । क ुद िनजी कं पिनयांख ु द मfम<त, tuाचार मfही रहती {य<त । परा ू चािहए इनको काम, तन#वाह बढ़ानेका नहj हैनाम । 0ेम भरा <वभाव यहां ह,ैअoछाई ना जानेकहां है? आचार- िवचार और सदाचार, सब मfिल| हैtuाचार । कोई ना पाया इससेपार ,भारत मfफैला tuाचार । ~ सातवj (अ)
म े रा <क ू ल मेरा <क ू ल, मेरा <क ू ल, िजसको नहj सकता मbभल ू । मांनेम ु झको <क ू ल भेजकर, मेरेजीवन का भिव}य बनाया । मेरा <क ू ल एक स ुंदर <क ू ल, िजसमfरंग - िबरंगेफ ू ल । हर तरफ हिरयाली ही हिरयाली, जो भी देखेमन ललचाए । टीचर हमको पाठ पढ़ाते, हमfनई-नई बात िसखाते। वेहमको बतातेअoछी आदत, जो हमको अoछा इंसान बनाती । मेरा <क ू ल, मेरा <क ू ल, िजसको नहj सकता मbभल ू । मेरा <क ू ल, मेरा <क ू ल, सबसेmयारा मेरा <क ू ल । अिदत शमा3। सातवj (अ) मोट ू जी स े चला न जाता, क े वल भोजन करना आता । भोजन करक े सो जात े , जगन े पर िफर स े खात े ह b। मोट ू जी कब दौड़ लगात े , हाथ पर ै भी कहां िहलात े। ~मिै थली सातवj (अ) मोट ू जी
िवEास करो कम 3 म f म bिनध 3 नता हूं, त ु म म ु झ ेिमटाना चाहत े हो । या क ु छ करक ेिदखाना चाहत े हो, पर म ु झ ेि0य हो । म b त ु ह f 0 े म करती हूं, इसीिलए फट े प ु रान े कपड़ ेपहनती हूं । म b त ु हारा नसीब हूं, इसीिलए त ु हार े करीब हूं । ल ेिकन त ु म चाहो तो कीचड़ म f कमल िखला सकत े हो, धरती और आकाश िमला सकत े हो । द े खो िवEास ब ु ला रहा ह, ै उगता सरज ू त ु ह f राह िदखा रहा ह ै। ~अिप 3 ता सातवj (अ)
झांसी की रानी झांसी की वो रानी थी, बहाद ु र थी, मदा3नी थी । इितहास केपPनk पर िलखी, अमर उसकी कहानी थी । <वातंS वीर आराFय बनी, वह भारत माता कहलाई । मन मfअंक ु र आजादी का था जमा हुआ । भारतीय धारा पर जPमी, नPही मन ु बड़ी सयानी थी । आखरी सांस थी जब तक उनमf, िफरं िगयk सेलडी भवानी थी । वह द ु गा3बनकर क ूद पड़ी, झांसी का द ु ग3छावनी बना । छÄकेछ ू टेअंBेजk के, जन जागि ृ त का तब िबÅक ु ल बजा । रानी थी एक वेथेअनेक, वह वीर 0स ू मfसमा गई । द ु िद3न बनकर आए थे, वेभारत भ ू को भी क ु चल गए । त ु मनेहमको अवदान िदया, वह सबक िसखा कर चलेगए । चमक उठी सन्स=ावन मf, वह तलवार प ु रानी थी । खब ू लड़ी मदा3नी वह, तो झांसी वाली रानी थी । ~ अंतरा सातवj (अ)
म े रा क f@ीय िव]ालय िकसी न े सही कहा ह, ै भारत का <विण 3 म गौरव क f@ीय िव]ालय लाएगा । इसकी छS-छाया म f लाखk िव]ाथÑ, सफलता क े गगन को चम ू रह े ह b। पीढ़ी दर पीढ़ी इसस े मांका mयार िमलता, माग 3 दशÑ बन उ=म िश(ा और मÅयk ू स े। िव]ाथÑ की िदशा-दशा बदलकर, अित उ=म नागिरक बनाया । ख े ल क ूद का जगत हो या िवÖान का ( े S या िफर रण ( े S, इसक ेिव]ाथÑ न े मांभारती क े कदमk पर हम े शा सफलता क े प ु }प समिप 3 त िकए ह b। अहो भाwय म े र े , म े र े भाई और िपताजी क े , िजPह f इस असीम सं<था क े चरणk की धल ू 0ा| हुई ह ै। िकसी न े सही कहा ह ै भारत का <विण 3 म गौरव क f@ीय िव]ालय लाएगा । ~मध ु (रा सातवj (अ)
रंग-िबरंग े फ ू ल ह ै रंग-िबरंग े फ ू ल ह, ै यह िकतन े mयार े ह b। वह आकिष 3 त करत ेिततली को, और च ु रा ल े त े ह ै सबक ेिदल को । िवकिसत होत े सय ू 3 क ेिकरणk स े , जमीन हो या पानी म f। िकतन े स ुंदर िदखत े ह, b ग ु लाब हो या कमल । वह िकतन े कोमल फ ू ल ह, ै रंग-िबरंग े फ ू ल ह, ै यह िकतन े mयार े फ ू ल ह ै। ~गायSी सातवj (अ)
बह ु त रात हो गई द ू र खड़ े यह िसतार े , म ु झ े ह ैिनहारत े। म ेरी तरफ द े ख कर यह ह ै म ु <क ु रात े , कब मंिजल पाओग े अपनी ? यह सवाल करत े। सरज ू को तो मन bे भ े ज िदया था, त ु झ े शिÜ द े न े। बाकी द ु िनया Äया कर रही ह, ै उस े मत द े ख । त ु झ े बस अपना ब े हतर करना ह, ै और करत े ही जाना ह ै बस इतना याद रखना । ~अिभराज राठौर सातवj (अ)
0द ू षण 0द ू षण क े म ु #य 0कार ह b वाय ु 0द ू षण, जल 0द ू षण और Fविन 0द ू षण। सबस े Oयादा वाय ु 0द ू षण फ ै लता ह ै। यहां चौबीस घंट े कल कारखानk का ध ु आँऔर कार, बाइक का ध ु आँइस तरह फ ै ल गया ह ैिक वाय ु म f सांस ल े ना भी द ु भर हो गया ह ै। यह सम<या वहां अिधक फ ै लती ह ै जहांसघन आबादी होती ह ै। कल-कारखानk का द ू िषत जल नदी नालk म fिमलकर भयंकर जल 0द ू षण पद ै ा करता ह ै। आजकल कारखान े का शोर यातायात का शोर लाउड<पीकरk की Fविन न े बहर े पन और तनाव को जPम िदया ह ै। मानव क े <वáप जीवन को खतरा पद ै ा हो गया ह।ै इसक े कारण न समय पर वषा 3 आती ह, ैऔर ना ही सदÑ गमÑ का चà ठीक स े चल रहा ह ै। हम f व(ृ काटन े नहj चािहए उगान े चािहए । इिmसता सातवj (अ)
प ु <तकालय प ु <तकालय दो शlदk स ेिमलकर बना ह ै प ु <तक + आलय इसका अथा 3 त ् प ु <तकk का घर। प ु <तकालय म f सब लोग अपन े- अपन े मन पसंद की प ु <तक को पढ़त े ह।b म ु झ े प ु <तक पढ़ना बहुत अoछा लगता ह ै। प ु <तकालय म f अलग-अलग प ु <तक f होती ह b। प ु <तक िकसी भी {यिÜ क े Öान को बढ़ा द े ती ह ै। प ु <तकk को अलग-अलग अलमारी म f रखत े ह b। प ु <तकालय म f अंB े जी और िहंदी प ु <तकk क े साथ ही साथ अPय भाषाओ ं की प ु <तक भी िमलती ह b। प ु <तकालय म f सारी प ु <तक fिमलती ह b। हमार ेिव]ालय म f प ु <तक अलग-अलग िवषयk की होती ह b। प ु <तकालय म f बहुत शांित और गंभीरता रहती ह ै। िकसी भी प ु <तक को पढ़न े स े समझना बहुत आसान हो जाता ह ै। म ु झ े प ु <तक पढ़ना बहुत अoछा लगता ह ैÄयkिक प ु <तक म f अलगअलग किवता रहती ह ै। वह किवता पढ़न े म f म ु झ े मजा आता ह ै। 0णवी सातवj (अ)
• आज उस {यिÜ की जयंती ह ै जो “त ु म म ु झ े खन ू दो, म b त ु ह f आजादी द ू गां” बोल ख ु द िबना आजादी द े ख े चला गया । • उस {यिÜ की िजसन ेिकसी और को अपन े कामk का *े य स े द े कर पीछ े हट गया । • स ु भाष चं@ बोस यह नाम स ु न मन द ु खता हमारा। जहां औरंगज े ब और अकबर पर खच 3 कर िदए अ(र वहां इनका नाम नहj िदखता कहj हम f। • यह बात f ख ु द Äलीम f ट एटली न े कही की िजतना आजाद िहंद फौज पर 0भाव पड़ा उतना दांडी माच 3और सâयाBह का नहj । • मतलब यह नहj की सâयाBह और दांडी माच 3 नाकाम ह ै परंत ु न े ताजी जस ै ा िजगरा शायद ही िकसी क े पास ह, ै शायद ही िकसी क े पास ह ै। *े या यादव दसवj (अ) न े ताजी स ु भाष चं@ बोस
हमारा भारत द े श िवकास याSा की राह म f आग े बढ़ रहा ह।ैिजसम f tuाचार एक बड़ा अवरोध ह ै। tuाचार स े म ु िÜ क े दावk क ेबीच द े श म fकोई ऐसी घटना घिटत हो जाती ह।ैिजसस े सीध े यह 0तीत होता ह ैिक tuाचार पर काब ू पाना िकसी क े वश म f नहj ह ै। tuाचार द े श की लाइलाज सम<या हो गया ह ै। tuाचार स े आशय अनिै तक अन ु oछ े द या tu आचरण स े ह।ैनीित िनयम िवzä काय 3 {यवहार करना tuाचार कहलाता ह ै। tuाचार गरीबk और कमजोर लोगk को सबस े अिधक न ु कसान पहुंचता ह ै। tuाचार करन े वाला {यिÜ अपन े िनजी लाभ क ेिलए द े श क े संपि= का शोषण करता ह ै। ब ेईमानी या धोखाधड़ी वाला {यवहार tuाचार क े áप म f सामन े आता ह ै। tuाचार क े कई áप ह ैिजनम f िरEतखोरी, गबन, भाई, भतीजाबाद स=ा का द ु zपयोग और धोखाधड़ी शािमल ह ै। ~द( राय सातवj (अ) tuाचार
छोड़ घोसला बाहर आया, द े खी डाल े द े ख े पात । और स ु नी जो प= ेिहलिमल, करत े ह b आपस म f बात । मांÄया म ु झको उड़ाना आया? नहj च ु áं ग ु न त ू भरमाया, डाली स े डाली पर पहुंचा । द े खी किलयांद े ख े फ ु ल, ऊपर उठकर फ ु नगी जानी, नीच े झ ु क कर जाना भल ू । मांÄया म ु झको उड़ाना आया? नहj िचáं गंन ू त ू भरमाया, कoच े-पÄक े फल पहचान े। खाए और िगराए काट, खान े-गान े क े सब साथी । द े ख रह े ह b म ेरी बाट, मांÄया म ु झको उड़ाना आया? नहj च ु áं ग ु न त ू भरमाया । ~अ(दीप कौर सातवj (अ) मांÄया म ु झको उड़ाना
सिu ृ का आधार ह ै नारी शिÜ का अवतार ह ै नारी, धय ै3 का भंडार ह ै नारी। नारी िबना य े जग अधरा ू , जीवन का आधार ह ै नारी। माँबनकर जPम िदया िजसन े , लालन पालन िकया िजसन े। शीश झ ु का नमन कáँ उनको, िकया म ु झपर एहसान िजसन े। नारी शिÜ नारी द ु गा 3 , नारी सिu ृ का आधार। समान कáँ म b सब नारी का, िबन नारी सिu ृ ब े कार। अपना ही वजदू भल ू ा कर, हर िकरदार िनभाती ह।b य े वही द ेवी ह bजो, घर को <वग 3बनाती ह।b आ जाएं य ेिजस ( े S म f , सव 3*े N बन िदखाती ह।b इनस े ह ै गव 3 समाज का, गौरवशाली रा}å बनाती ह।b ~ नंिदनी *ी क(ा 10 “स”
• रात समय वह म े र े आव े भोर भय े वह घर उिठ जाव े यह अचरज ह ै सबस े Pयारा ऐ सिख साजन ? ➡ना सिख तारा ! • ऊं ची अटारी पलंग िबछायो म b सोई म े र ेिसर पर आयो ख ु ल गई अंिखयांभयी आनंद ऐ सिख साजन ? ➡ना सिख चांद ! • जब माँग ू तब जल भिर लाव े म े र े मन की तपन ब ु झाव े मन का भारी तन का छोटा ऐ सिख साजन ? ➡ ना सिख लोटा ! • वो आव ै तो शादी होय उस िबन द ू जा और न कोय मीठ े लाग f वा क ेबोल ऐ सिख साजन ? ➡ ना सिख ढोल ! • अित स ु रंग ह ै रंग रंगील े ह ै ग ु णवंत बहुत चटकीलो राम भजन िबन कभी न सोता ऐ सिख साजन ? ➡ना सिख तोता ! बझो ू तो जान े~ अमीर ख ु सरो
Äया आपको पता ह ैिहंदी ल े कर हम भिव}य म fिकस पथ की ओर बढ़ सकत े ह ?b • िहंदी टीचर/0ोफ े सर • राजभाषा अिधकारी • पSकािरता • कं ट f ट राइटर/एिडटर • åांसल े टर • इंटरि0ट े शन • वॉयस ओवर आिट 3 <ट • िहंदी टाइिप<ट/िहंदी <ट ेनोBाफर • <पीच राइटर • नॉविल<ट/राइटर/ पोएट
अनमोल िवचार 1. जीवन म fिवज े ता क ु छ अलग नहj करत े परंत ु वह चीजk को ही अलग तरीक े स े करत े ह b। 2. सफलता का एकमाS उपाय कड़ी म े हनत करना ही ह ै। 3. जब तक आप चीजk को अलग तरीक े स े नहj द े खत े तब तक आप उस े अलग तरीक े स े नहj कर सकत े। 4. क ु छ कर सकन े म f सफलता आती ह ैऔर क ु छ ना कर सकन े म f असफलता आती ह ै। 5. अपन ेिमशन म f सफल होन े क ेिलए आपको अपन े लçय क े 0ित एक िच= भाव स े समिप 3 त होना पड़ े गा । 7. सफलता अन ु भव स े आती ह ैऔर अन ु भव हम े शा ब ु र े अन ु भव स े आता ह ै। 8. सफलता त ु हारा पिरचय द ु िनया स े करवाती ह ैऔर असफलता त ु ह f द ु िनया का पिरचय करवाती ह ै। 9. जो लोग िगरन े स े डरत े ह b वह कभी भी जीवन म f उड़ान नहj भर सकत े। 10. यिद आप बहान े बनात े ह b मतलब सफल तो बनना चाहत े ह b।
अनमोल िवचार 11. कोिशश हम fअंितम (ण तक करनी चािहए जीवन म f सफलता िमल े या ना िमल े परंत ु तज ु बा 3 तो िमल े गा ही । 12. िजतना और हारना यह तो आपकी सोच पर िनभ 3 र करता ह ै मान लो तो हार होगी और ठान लो तो जीत होगी । 13. लड़ाई लड़न े वाला तो िवजय 0ा| करता ह ै परंत ुद ू र स े द े खन े वाला तो िसफ 3 तािलयांबजाता रह जाता ह ै। 14. हमारी सम<याओंका समाधान तो क े वल हमार े पास ही ह ै द ू सरk क े पास तो क े वल स ु झाव ह ै। 15. जीवन म f कामयाब होन े क ेिलए अoछ ेिमSk की जáरत होती ह ै परंत ु Oयादा कामयाब होन े क ेिलए अoछ े शS ु ओ ंकी जáरत होती ह ै। 16. हम े शा च ु नौितयk को <वीकार करना चािहए इसस े सफलता िमल े गी या तो िश(ा । 17. अगर िनयत अoछी होती ह ै तो नसीब कभी भी ब ु रा नहj होता । 18. भल े ही आप इस द ु िनया म f अक े ल े आए हो परंत ु जान े क े बाद द ु िनया म f अपन ेिवचार और ब ुिä तो द े कर जा सकत े ह b। 19. सफल बनन े क ेिलए सबकी स ु नन ेकी आदत होनी चािहए परंत ु करना वही चािहए जो अपन े मन को ब े हतर लग े। 20. क ु छ लोग क े वल सफल होन े क े सपन े द े खत े ह bजबिक अPय लोग जात े ह bऔर इसक ेिलए किठन म े हनत करत े ह b।
1.मा<टर जी – सबस े Oयादा नशा िकसम f होता ह?ै िचंट ू– िकताब म f। मा<टर जी – क ै स े? िचंट ू– Äयkिक िकताब खोलत े ही नjद आ जाती ह ै। 2. पापा – िचंट ू, आज त ु म <क ू ल Äयk नहj जा रह े हो? िचंट ू– पापा, कल <क ू ल म f हम fतौला गया था और Äया पता आज ब े च ही न द f। 3. मा<टर जी – बताओ, क ु त ु ब मीनार कहां ह?ै िचंट ू– पता नहj । मा<टर जी – िफर ब f च पर खड़ ेहो जाओ । िचंट ू ब f च पर खड़ा हो जाता ह ैऔर क ु छ द े र बाद कहता ह, ै मा<टर जी यहांस े भी नहj िदख रहा ह ै। 4. मा<टर जी – एक तरफ पस ै ा और द ू सरी तरफ अÄल… बताओ िचंट ू त ु म Äया च ु नोग े? िचंट ू– पस ै ा मा<टर जी – गलत, म bतो अÄल च ु नता । िचंट ू– आपकी बात भी सही ह, ैÄयkिक िजसक े पास जो चीज नहj होगी, वो वही च ु न े गा । 5. अFयापक न े पढ़ात े हुए 0é पछ ू ा – कौन-सा हाथ िलखन े क े िलए सबस े अoछा होता ह ै? एक छाS न े उ=र िदया – कोई सा भी नहj, Äयkिक हम प े न स े िलखत े ह b। बoचk क ेिलए मजािकया च ु टक ु ल े
बoचk क ेिलए मजािकया च ु टक ु ल े 6. अFयापक – बoचk बताओ, गिणत की िकताब द े खकर अÄसर सब लोग मायस ू Äयk हो जात े ह ?b छाS – Äयkिक, इसम fिकसी भी सवाल का हल नहj होता ह ै। 7. एक {यिÜ न ेिचंट ू स े पछ ू ा – सम ै संग फोन की द ु कानk क े बाहर काम करन े वाल े गाड 3को Äया कह कर ब ु लात े ह ?b िचंट ू न े जवाब िदया – गािड 3 यंस ऑफ द गल ैेÄसी 8. मा<टर जी – खाना खान े स े पहल े सभी बoचk को अपन े हाथ धोन े चािहए । िचंट ू– ल ेिकन, म b तो खाना खान े क े बाद हाथ धोता हूं । मा<टर जी- ऐसा Äयk ? िचंट ू– तािक मोबाइल पर दाग न पड़ जाए । 9. मा<टर जी- बताओ, ताजमहल िकसन े बनाया था ? िचंट ू– िमêी न े। मा<टर जी – अर े ब े वक ू फ िकसन े बनवाया था ? िचंट ू– तो िफर ठ े क े दार न े बनवाया होगा । 10. पापा – म े रा ब े टा म ु झ े Oयादा mयार करता ह ै। ममी – नहj, म े रा ब े टा म ु झ े Oयादा mयार करता ह ै। पापा – अoछा..चलो ब े ट े को च ु पक े स े कं कड़ मारत े ह, bवो डरकर िजसका नाम ल े गा उसी स े वह Oयादा mयार करता ह ै। ममी – ठीक ह ै।
किवयk क े म ु ख स े जो बीत गई सो बात गई जीवन मfएक िसतारा था, माना वह बेहद mयारा था । वह ड ू ब गया तो ड ू ब गया, अबर केआनन को देखो । िकतनेइसकेतारेट ू टे, िकतनेइसकेmयारेछ ू टे। जो छ ू ट गए िफर कहाँिमले, पर बोलो ट ू टेतारk पर कब अबर शोक मनाता है। जो बीत गई सो बात गई जीवन मfवह था एक क ु स ु म थेउसपर िनâय िनछावर त ु म वह सख ू गया तो सख ू गया मध ु वन की छाती को देखो सख ू ी िकतनी इसकी किलयाँ म ु झा3ई िकतनी वÅलिरयाँ जो म ु झा3ई िफर कहाँिखली पर बोलो सख ू ेफ ू लk पर कब मध ु वन शोर मचाता है जो बीत गई सो बात गई जीवन मfमध ु का mयाला था त ु मनेतन मन देडाला था वह ट ू ट गया तो ट ू ट गया मिदरालय का आँगन देखो िकतनेmयालेिहल जातेहb िगर िमGी मfिमल जातेहb जो िगरतेहbकब उठतfहb पर बोलो ट ू ट े mयालk पर कब मिदरालय पछताता ह ै जो बीत गई सो बात गई मदृ ु िमटटी क े ह b बन े हुए मध ु घट फ ू टा ही करत े ह b लघ ु जीवन ल े कर आए ह b mयाल े ट ू टा ही करत े ह b िफर भी मिदरालय क े अPदर मध ु क े घट ह b मध ु mयाल े ह b जो मादकता क े मार े ह b व े मध ु लट ू ा ही करत े ह b वह कoचा पीन े वाला ह ै िजसकी ममता घट mयालk पर जो सoच े मध ु स े जला हुआ कब रोता ह ैिचÅलाता ह ै जो बीत गई सो बात गई ~हिरवंश राय बoचन
किवयk क े म ु ख स े कलम, आज उनकी जय बोल जला अि<थयाँबारी-बारी िचटकाई िजनम fिचंगारी, जो चढ़ गय े प ु ëयव े दी पर िलए िबना गद 3 न का मोल कलम, आज उनकी जय बोल । जो अगिणत लघ ुदीप हमार े तफ ू ानk म f एक िकनार े , जल-जलाकर ब ु झ गए िकसी िदन माँगा नहj <न े ह मँ ु ह खोल कलम, आज उनकी जय बोल । पीकर िजनकी लाल िशखाएँ उगल रही सौ लपट िदशाएं, िजनक ेिसंहनाद स े सहमी धरती रही अभी तक डोल कलम, आज उनकी जय बोल । अंधा चकाचíध का मारा Äया जान े इितहास ब े चारा, साखी ह b उनकी मिहमा क े सय ू 3 चP@ भग ू ोल खगोल कलम, आज उनकी जय बोल । ~रामधारी िसंह िदनकर
िहंदी सािहâय की Äलािसक िकताब f िजPह f पढ़ना चािहए 1 . गोदान (म ुंशी 0 ेमचंद) िहंदी सािहâय 0ेमचंद केनाम केबगरैअधरा ू है। वसै े तो 0ेमचंद की कई कालजयी क ृ ितयां ह, bगोदान उपPयास उनकी सव3*ेN रचनाओ ंमfसेहै। यह िहंदी मf 1936 मf0कािशत हुआ और अंBेजी मfइसका अन ु वाद 1987 मfहुआ । िìिटश शासन केअधीन वाले भारत केसमाज, पिरवार और पिरवेश केिलए यह उपPयास पढ़ा जाना चािहए । 2. मल ै ा आंचल (फणीEर नाथ र े ण ु) िहPदी सािहâय मfफणीEर नाथ रेण ु और उनके उपPयास मलै ा आंचल का नाम कालजयी ह।bयह उनकी सबसेलोकि0य िकताब है। इसमfएक ऐसे डॉÄटर की कहानी ह,ैजो पढ़ाई परी ू कर गांव मf 0िÄट ै स करनेलगता है। मलै ा आंचल उपPयास पर द ू रदश3न पर एक टीवी सीिरयल भी 0सािरत हो च ु का है। मलै ा आचंल और इसकी भाषा आपको असली िहंद ु <तान मfलेकर जाएंगे 3 .तमस (भी}म साहनी) सां0दाियक दंगk की पN ृ भि ू म पर िलखी िकताबk मf भी}म साहनी की तमस सबसेअoछा द<तावेज है। इसमfदेश केिवभाजन सेपहलेकेपिरîïय का भी उÅलेख िमलेगा ।
िहंदी सािहâय की Äलािसक िकताब f िजPह f पढ़ना चािहए 4. राग दरबारी (*ीलाल श ु Äल) समाज और राजनीित पर अब तक का सबसेअoछा सटायर है*ीलाल श ु Äल का उपPयास राग दरबारी । इस िकताब मf{यव<था, सरकार और {यिÜ िवशेष के<वभाव आिद पर {यंwय है। *ी लाल श ु Äल को सािहâय अकादमी सेसमािनत िकया गया है। 5. ग ु नाहk का द े वता (धम 3वीर भारती) िहंदी िकताबfपढ़नेवालेOयादातर पाठक अपनी पठन याSा धम3वीर भारती के इसी उपPयास सेश ु á करतेहb। िजसनेभी यह उपPयास पढ़ा हैवो इसके नायक और नाियका चंदर और स ु धा को कभी नहj भल ू सकता। एक नाकाम म ु हlबत की ऐसी कहानी आपनेकभी नहj पढ़ी होगी । 6. आषाढ़ का एक िदन (मोहन राक े श) आषाढ़ का एक िदन एक नाटक ह,ैिजसमf कािलदास और मिÅलका के0ेम को दज3िकया गया है। नाटक मf0ेम कहािनयk मfिदलच<पी रखनेवाले पाठकk को यह िकताब जáर पढ़ना चािहए ।
7. वयं र(ाम: क े बार े म f (आचाय 3 चत ु रस े न) 'वयं र(ामः' का म ु #य पाS रावण ह,ैराम नहj । इसमfरावण केचिरS केतमाम प(k कर ऐसा िववरण िकया गया हैिक हम एक तरह सेउसी य ु ग और काल मf0वेश कर जातेहb। यहांतक िक प ु <तक मfरावण को राम से*ेN बताया गया ह।ैप ु <तक केअन ु सार, रावण नेदि(ण को उ=र सेजोड़ने केिलए एक नई सं<क ृ ित का 0चार िकया । उस सं<क ृ ित को र(-सं<क ृ ित का नाम िदया । 8. मâ ृ य ुंजय (िशवाजी सावंत) महादानी कण3को जाननेऔर समझनेकेिलए िशवाजी सावंत केउपPयास ‘मâ ृ य ुंजय’ सेबेहतर क ु छ नहj हो सकता। यह एक ऐसी िकताब हैिजसेपढनेकेबाद हम कई िदनk तक कण3की द ु िनया और उनकेजीवन मf0वेश कर जातेह।bभाषा, भाव और धम3संकट का ऐसा िववरण िक इसेहम आज भी एक Bंथ ही मानतेहb। 9. िकतन े पािक<तान (कमल े ïवर) इितहास मfहुई Sासदी और िवभाजन पर कोई िकताब पढ़नी हो तो कमलेEर की 'िकतनेपािक<तान' पढ़ी जाना चािहए। इस उपPयास को साल 2003 मfसािहâय एकेडमी अवॉड3भी िमला था । िहंदी सािहâय की Äलािसक िकताब f िजPह f पढ़ना चािहए
Routes 2 Roots
Independence Day
Annual Sports Day
Fire Safety Foundation Day
English Section “Knowledge of languages is the doorway to wisdom.”
A Tree I come from a seed, a bird once dropped burying down the earth with the right conditions and right depth, I was given birth. Over the years I slowly grow, becoming great in size providing shade to the world below, and food and shelter with pride. There a came a bird to eat my fruit, dropping the seed in gain The seed buries deep in the earth Giving birth again. ~Suryansh IX A Environment The Earth's environment makes Earth the only planet on the solar system where life and sustainability is possible. From the beginning of time, the Earth has provided all the inhabitants of the planet with everything they need for their survival. On the other hand, human beings exploited all the natural resources for their own selfish needs and made the planet like a barren and ramshackle land. Human beings are an integral part of the environment and hold huge responsibility to upkeep the living conditions for their own sake and for the sake of all the inhabitants of the planet, including plants and animals. ~S Suhana Anjum VII B
Physics In the realm of equations and laws, so grand, Physics reign supreme, a wondrous land; Where gravity pulls and light refracts, And scientists ponder quirky facts! There's Newton with his apple, a tale so quaint, Gravity's discovery, a moment to paint, But the apple fall or did it leap? Perhaps Newton was just asleep! Then there is Schrodinger's cat, both dead and alive, A paradox that makes our mind strive; Is it in the box? Is it out to play? Oh, the mysterious of quantum's way! Einstein with his relativity ,time is in strange dance, Bending space, giving theorist a chance; Travelling at light speed, a cosmic race, But watch out for those wrinkles on your face! From black holes to quarks, the universe's jest, Physics keeps us guessing, putting us to the test; So let's embrace the chaos, laugh and grin, For in the realm of physics, the fun begins! ~Aadrith Rambhutla VII A
Do Not Give Up! Hey, don’t give up you are not something like a Glass cup that you will break so easily Tears may be falling from your eyes like its drizzle But you still have in you left some strength You are not broken you are just bent. I know the journey is long it makes you tired And I also know that you are very strong You have chosen unique goals Such goals that when some think of Accomplishing them, shiver their souls You are like a bird whose wings have been injured You must heal and once again fly in the sky This time a bit more high the challenges are But you don’t need to be afraid Remember your goal is to become the voice of the oppressed Your goal is to help the depressed Your dream is to make your father’s dreams come true Your dream is to write a poem that can only Be written by a few. ~Praneetha Kalangi X C
Environment The environment with treasures All so countless to measure Fish and whale in deep blue water. Grasslands and forests with terrestrial life Cold freezing mountains peaks and hot tiring deserts Life among the trees and sand so alive Sky so blue with air so clean; Only the sun, moon and stars to see. Eagles and vultures take the turn: Life in the sky so alive ~M. Avantika - IX B Smile A smile is quite a funny thing It winkles up for your face. And when it's gone You’ll never find it's secret hiding place But for more wonderful it is To see what smiles can do You smile at one He smiles at you And so one smile makes two Sonam Kumari VI C
Riddles 1.What is full of holes but can hold water? =A sponge. 2.What is always in front of you but can't be seen? =Your future. 3.You've seen a boat filled with people, yet there isn't a single person on board. How is that possible? =Because everyone in the board was married. 4.David's parents have three sons. Snap, Crackle and What is the name of third son? =David. 5.What is black when it's clean and white when it's dirty? =A blackboard. 6.What gets bigger when more is taken away? =A whole. 7.Three doctors said that Bill was their brother. Bill says he has no brother. How many brothers does Bill actually have? =Bill doesn't have any brother. He has sisters. 8.What 5 letter word becomes shorter when you add two letter to it? =Short 9.A word I know 6 letters it contain, remove one letter and 12 remain. What is it? =Dozens 10.Two in a corner, one in a room, zero in a house, but one in a shelter. What is it? =The letter "R". 11.Backward I am heavy, but forward I am not. What am I? =The word "not". Reading letter from backward "ton".
How to use internet wisely? • *Identify your goals. What do you want to accomplish online today? Are you searching a specific topic, checking mails or shopping a new gadget? • *Effective searches- Search engines are powerful tools but you need to use them effectively. Learn how to use keywords, filters and operators to get the most relevant results. • *Avoid distractions- Silence the notification for social media, news reeds and mail. • * Book mark smartly – If there are websites you find yourself returning frequently, book mark them in a way that makes them easy to find. • *Harness the power of list- Before you head online, jot down a list of the things you need to do. This will help you to study on tracks. • *Evaluate your source – Not all information in online is correct. Be discerning about the website you visit and the information you consume • *Go beyond the first page of results. Search engines often priorities certain sites. Valuable information can be found through a deep search. • ~ Ninad Vishal Jinde - XI A
Tribute to Mothers The one who gave birth to you The one who loves you The one who teaches you who helps you The one who understand your feelings The one who cries when you cry The one who worries about you The one who corrects your mistakes Have you got an idea about whom I am talking about It's our MOTHER She knows all her responsibilities But now it's your duty to make her happy Never try to hurt her as she is next to God Always try to make her Smile. Mom, you are a wonderful mother. So, gentle yet so strong. The way you show your love makes me happy. ~Kavya Shri- XII – B Mother’s Love